गुरू ही परमात्मा का दूसरा स्वरूप हैं-स्वामी निर्मलदास
हरिद्वार, 10 जुलाई श्रवणनाथ नगर स्थित तारकेश्वर धाम में आयोजित गुरू पूर्णिमा पर्व के अवसर पर गौ गंगा धाम सेवा ट्रस्ट के अध्यक्ष स्वामी निर्मल दास महाराज ने युवा भारत साधु समाज के राष्ट्रीय महामंत्री स्वामी रविदेव शास्त्री को उनके ब्रह्मलीन गुरू स्वामी डा.श्यामसुंदर शास्त्री महाराज की प्रतिमा भेंट की। इस अवसर पर स्वामी निर्मल दास महाराज ने कहा कि गुरू ही परमात्मा का दूसरा स्वरूप हैं और गुरू से बढ़कर संसार में कोई वस्तु नहीं है। उन्होंने कहा कि ब्रह्मलीन स्वामी श्यामसुंदर दास शास्त्री धर्म शास्त्रों के प्रकाण्ड विद्वान और सरल स्वभाव के संत थे। सभी को उनके जीवन से प्रेरणा लेनी चाहिए। स्वामी रविदेव शास्त्री ने कहा कि गुरू पूर्णिमा गुरूओं को नमन करने का दिन है। ब्रह्मलीन गुरूदेव स्वामी डा.श्यामसुंदर शास्त्री महाराज ने सेवा का जो मार्ग दिखाया है। उसका अनुसरण करते हुए आश्रम की सेवा संस्कृति को आगे बढ़ाना ही उनके जीवन का उद्देश्य है। इस अवसर पर स्वामी हरिहरानंद, स्वामी सुतिक्ष्ण मुनि, स्वामी दिनेश दास, स्वामी ज्योतिर्मयानंद सहित कई संत महंत व श्रद्धालु मौजूद रहे।
गुरू ही परमात्मा का दूसरा स्वरूप हैं-स्वामी निर्मलदास
